icon

Getting all of the Ayurveda Knowledge from our Ayurvedic blog.

We are 5 year old website in Ayurveda sector. Providing you regular new article on Ayurveda. You can get Herbs, Medicine, Yoga, Panchkarma details here.

+91 9887282692

A 25 Flat 4, Shantinagar, Durgapura, Jaipur Pin code - 342018

लीवर की खराबी

लीवर की खराबी से सम्बंधित रोगों के लक्षण व बचाव के घरेलू उपाय

पाचनतन्त्र का सबसे महत्वपूर्ण अंग लीवर होता है | यह शरीर में खाने के माध्यम से पहुंचने वाले विषेले पदार्थो को शरीर से बाहर निकालने का कार्य बखूबी करता है | हमारे द्वारा लिया गया आहार लीवर से होता हुआ ही अमाशय तक पहुंचता है लीवर से पाचक रस हमारे द्वारा खाये हुए आहार में मिल जाता है जिसे पाचक रस के नाम से भी जाना जाता है | जिसका मुख्य कार्य खाए हुए खाने को पचाना होता है |

लीवर के रोगों से बचाव के लिए डाइट

लीवर से निकलने वाले एंजाइमो व जठराग्नि मिलकर खाने से पोष्टिक तत्वों को अलग करके हमारी धातुओ का पोषण करते है | और अपशिष्ट पदार्थो को मल व् मूत्र के रूम में शरीर से बहार निकालने में अहम भूमिका अदा करता है | लीवर के रोगों की उत्पत्ति होने पर हमारा पाचन तन्त्र भी गडबडा जाता है |

लीवर के खराब होने पर दिखने वाले लक्षण

वर्तमान समय में लीवर से सम्बंधित रोगों की समस्या आम होती जा रही है | जिसका सबसे बड़ा कारण भी इन्सान खुद ही होता है क्योकि लीवर से सम्बंधित किसी भी प्रकार की समस्या  के लिए हमारी असंयमित दिनचर्या ही सबसे प्रमुख है | आधुनिक जीवनशैली में शराब का सेवन लोगो का फैशन बन गया है | साथ ही साथ सिगरेट , हुक्का , आदि बहुत से मादक पदार्थो का सेवन करने का सारा की सारा दुष्प्रभाव सबसे पहले लीवर पर ही पड़ता है |

लीवर में जैसे की कुछ की असामान्य होने लगता है तो हमे उसका आभास भी हो जाता है किन्तु हम उसे नकार देते है | लीवर की खराबी होने पर निम्न लक्षण दिखाई देते है |

नाभि के ऊपर हल्के दर्द का लगातार बना रहना

हमारे शरीर में लीवर का स्थान नाभि से ऊपर पेट के सबसे उपरी हिस्से में होता है | यदि पेट के उपरी हिस्से में लगातार हल्का दर्द बना रहे तो समझ लेना चाहिए की लीवर में किसी प्रकार की खराबी होने का संकेत है | जिसका कारण हमारी अनियमित दिनचर्या व् बाहरी फास्टफूड का अधिक सेवन है | जो की अधिक कठोर खाद्य पदार्थो का उपयोग करके तैयार किये जाते है | जिनका पाचन लीवर से निकलने वाले एंजाइमो के द्वारा नही हो पाता है | लीवर में पानी भरने की समस्या का कारण भी यही एकत्रित हुए टोक्सिंस ही होते है |

शरीर के किसी भी भाग में अचानक सूजन आना

यदि हमारे लीवर के द्वारा अस्वस्थ होने का संकेत देने के बाद भी हम उस और ध्यान नही देते है तो यह समस्या धीरे धीरे बढने लगती है जिसके शुरुआती दौर में पैरो में कभी कभी सुजन आने लगती है किन्तु ल्ब्मे समय तक ध्यान नही देने पर यह सूजन धीरे धीरे पूरे शरीर पर आने लग जाती है | लीवर से निकलने वाले एंजाइम जितने कम निकलेंगे सूजन उतने ही तेजी से बढ़ेगी |

शरीर पर हल्के दबाव से नीले धब्बे हो जाना

जिन लोगो की दिनचर्या अस्त-व्यस्त रहती है वो आसानी से इस समस्या के आगोश में आ जाते है | इस समस्या के होने पर किसी दुसरे व्यक्ति द्वारा थोडा जोर लगा कर यदि उसके शरीर को पकड़ा जाये तो उसके शरीर पर आसानी से नीले नीले चकते पड़ जाते है | जो की दो चार दिन बाद स्वत: ही ठीक हो जाते है | इस से साफ साफ़ अनुमान लगाया जा सकता है की ऐसे व्यक्ति के लीवर द्वारा आहार से प्रोटीन का रूपांतरण ठीक ढंग से नही हो पा रहा है | ऐसे लोगो की स्किन भी उम्रदराज लोगो के स्किन के जैसे दिखने लग जाती है |

संतुलित डाइट लेने के बाद भी लगातार वजन का घटना

अक्सर लोगो को आपने यह कहते हुए आसानी से सुना होगा की डाइट भी संतुलित और पोष्टिक ले रहे है , लेकिन पता नही खाया पिया कुछ काम ही नही आ रहा, जो खा रहे है वो कहा जा रहा है | ऐसे में सबसे पहले ध्यान जाता है की कही थाइरोइड तो नही हो गया है | यदि जाँच में वो भी नही आये , तो फिर लीवर डिसऑर्डर की और ध्यान जाता है जो की सोनोग्राफी आदि जांचे कराने से पता चलता है |

जलन या खुजली का बना रहना

आयुर्वेद के अनुसार खाने को पचाने में लीवर से निकलने वाले एंजाइमो से ही खाए हुए खाने का पाचन भलीभांति हो पाता है और जब लीवर एंजाइम का स्त्राव ठीक प्रकार से नही करता है तो यह हमारी आंतो में जाकर सडन पैदा करता है | जो हमारे रक्त को दूषित कर देता है, जिससे हमारे शरीर में खुजली होने लगती है |

आलसी स्वभाव का हो जाना फैटी लीवर होने का संकेत

अचानक से थकान व आलसी स्वभाव का होना फैटी लीवर होने का लक्षण होता है | लीवर में किसी भी प्रकार की अस्वस्थता होने पर आलसी स्वभाव होने लगता है | बिना कुछ काम किये ही अचानक थकान हो जाना बड़ा लक्षण है | आलस और थकान वैसे तो किसी भी इंसान के लिए खतरनाक है, लेकिन अगर बात करें लिवर की बीमारी की तो इंसान का एकदम से थकना शुरू हो जाता है | कुछ समय बाद हमेशा थका हुआ महसूस करता है | लीवर के फैटी होने की और इसारा करते है |

मुह से बदबू आना

शरीर का रंग जब पीला होने लग जाये साथ ही आँखे , नाख़ून व् पेशाब का रंग भी पीला होने लग जाये तो समझ लेना चाहिए की लीवर में अमोनिया की मात्रा काफी बढ़ चुकी है | शरीर में बढ़ी हुई अमोनिया के कारण मुह से बदबू आने लगती है |

हाइपर एसिडिटी का होना

लीवर की खराबी होने से वर्तमान समय में कब्ज का बना रहना आम बात है | उसके बाद समस्या जब अधिक दिनों से होती है तो एसिडिटी बनने लगती है जिसमे खट्टी डकारे , सीने में जलन का होना आदि लक्षण दिखाई देने लगते है |

आँखों के नीचे काले धब्बे होना

 हमारे यकृत ( liver) में किसी भी प्रकार की खराबी होने पर चेहरे पर सबसे जल्दी असर दिखाई देता है इसी क्रम में आँखों के नीचे काले धब्बे दिखाई देने लगते है | जो आपकी सुन्दरता को मटमैला कर देता है |

शरीर पर सफेद धब्बे होना  

यकृत (Liver) के उपरोक्त लक्षणों को अधिक समय तक नजरअंदाज करते रहने से शरीर पर सफेद सफेद धब्बे पड़ने लग जाते है जो की लीवर सोराइसिस होने की और संकेत करते है |

लीवर की खराबी से होने वाले रोग

लीवर में खराबी होने से बहुत से रोग होने की सम्भावना बनी रहती है |

  • फैटी लीवर
  • अल्कोहोलिक लीवर
  • हेपेटाइटिस
  • लीवर सोराइसिस
  • कैंसर

लीवर के रोगों का उपचार

फैटी लीवर का घरेलू इलाज

यदि आपका लीवर फैटी है तो आप बहुत कम समय में ही इससे निज़ात पा सकते हो बस आपको सुबह की शुरुआत कुछ इस तरह से करनी होगी | 200 मिली गुनगुने पानी में एक चम्मच शहद , एक नींबू का रस , 10-15 मिली एप्पल विनेगर मिलाकर कुछ दिनों तक सेवन करने से आपके लीवर पर जमा हुआ अतिरिक्त फैट कम हो जाएगी |साथ ही साथ योग व् प्राणायम का अभ्यास नियमित रूप से करना है |

रस चिकित्सा रखे आपके लीवर को हेल्दी

आज आपको कुछ सामान्य से ऐसे घरेलू उपाय बता रहे है जिनका उपयोग करने से आप लीवर से सम्बंधित रोगों से आसानी से बचे रह सकते हो | रस चिकित्सा द्वारा लीवर का शोधन होकर विषेले पदार्थ लीवर व् शरीर से आसानी से बहार निकल जाते है | लीवर का शोधन होने के बाद लीवर की कार्यक्षमता पहले से बेहतर हो जाती है और वह पाचक रसो का स्त्राव भलीभांति करने लगता है जिससे आगे होने वाली बहुत सी समस्याओ से बचा जा सकता है |

लीवर की खराबी होने से बचाव के 12 आसन घरेलू उपाय

अपने नजदीकी आयुर्वेद या प्राकृतिक चिकित्सक से परामर्श करके बताये अनुसार ज्यूस का कुछ समय तक लगातार उपयोग करने से आशातीत लाभ मिलता है |  

  • लोकी का रस
  • गाजर का रस
  • आवले का रस
  • चुकुन्दर का रस
  • पालक का रस
  • ज्वारे का रस
  • हल्दी का रस
  • नींबू का रस
  • गिलोय का रस
  • कालमेघ का रस
  • पुनर्नवा (सांठी) का रस
  • गोखरू का रस
  • पपीता का ज्यूस

लिवर सम्बन्धी रोगों के बेहतर इलाज के लिए श्री दयाल हर्बल का लिवडन ( SD-LIVDONE) टॉनिक का सेवन करे |

यदि आपको हमारा यह लेख पसंद आया हो तो कमेन्ट करके बताये व् शेयर करना ना भूले |

धन्यवाद !

Dr Ramhari Meena

Founder & CEO - Shri Dayal Natural Spine Care. Chairmen - Divya Dayal Foundation (Trust) Founder & CEO - DrFindu Wellness

Written by

Dr Ramhari Meena

Founder & CEO - Shri Dayal Natural Spine Care. Chairmen - Divya Dayal Foundation (Trust) Founder & CEO - DrFindu Wellness

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Open chat
नमस्कार आप अपनी स्वास्थ्य संबंधिय समस्याएँ परामर्श कर सकते हैं । हमें जानकारी उपलब्ध करवाएं